चित्र आधारित
स्वरचित
अतुकांत कवित्त
द्वारा अमित तिवारी “शून्य”
ग्वालियर , म. प्र.
कांटे
छांटे
मैंने
हर
दिन
फिर
जाके
पाई
मैंने
मंजिल
जीत
की
कोई
इबारत
जैसी
मेरी
मंजिल
मेरा
शिखर
विजय शिखर
द्वारा अमित तिवारी “ शून्य”
ग्वालियर म.प्र.
अपने अंतर्मन के भावो को उकेरती लेखनी को थामता हुआ कोई खोया हुआ लेखक मेरा अपना वो खोया सा ...प्रतिबिम्ब
स्वरचित
अतुकांत कवित्त
द्वारा अमित तिवारी “शून्य”
ग्वालियर , म. प्र.
कांटे
छांटे
मैंने
हर
दिन
फिर
जाके
पाई
मैंने
मंजिल
जीत
की
कोई
इबारत
जैसी
मेरी
मंजिल
मेरा
शिखर
विजय शिखर
द्वारा अमित तिवारी “ शून्य”
ग्वालियर म.प्र.
चित्र आधारित स्वरचित रचना “ अतुकांत रचना” द्वारा डॉ अमित तिवारी “शून्य” शीर्षक : ‘मन के तार’ ग्वालियर, भारत ; 30.06.2023 ...
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